उन्नयन (UNNAYANA)
शनिवार, 21 जनवरी 2017
आदर्श गगन सा ऊंचा
मानस
में
सौगात
सृजन
की
आँखों
में
अपनापन
हो
-
जिह्वा
से
पीयूष
धार
बहे
हृदय
में
प्रीत
आराधन
हो
-
बाहों में प्यार का सागर हो
आदर्श गगन सा ऊंचा
संकल्प हमारे राष्ट्र हेतु
जीवन से दूर सूनापन हो -
उदय
वीर
सिंह
कोई टिप्पणी नहीं:
एक टिप्पणी भेजें
नई पोस्ट
पुरानी पोस्ट
मुख्यपृष्ठ
सदस्यता लें
टिप्पणियाँ भेजें (Atom)
कोई टिप्पणी नहीं:
एक टिप्पणी भेजें